गीता आचरण के बारे में
à¤à¤—वद गीता à¤à¤—वान कृषà¥à¤£ और योदà¥à¤§à¤¾ अरà¥à¤œà¥à¤¨ के बीच की बातचीत है। गीता आनंदमय होने और मोकà¥à¤· (मोकà¥à¤·) पà¥à¤°à¤¾à¤ªà¥à¤¤ करने के लिठमानवता के लिठà¤à¤—वान का मारà¥à¤—दरà¥à¤¶à¤¨ है जो à¤à¥Œà¤¤à¤¿à¤• दà¥à¤¨à¤¿à¤¯à¤¾ के सà¤à¥€ धà¥à¤°à¥à¤µà¥‹à¤‚ से अंतिम मà¥à¤•à¥à¤¤à¤¿ है। वह कई रासà¥à¤¤à¥‡ दिखाता है जिसे किसी के सà¥à¤µà¤à¤¾à¤µ और कंडीशनिंग के आधार पर अपनाया जा सकता है।
यह वेबसाइट वरà¥à¤¤à¤®à¤¾à¤¨ समय के संदरà¥à¤ में गीता की वà¥à¤¯à¤¾à¤–à¥à¤¯à¤¾ करने का à¤à¤• पà¥à¤°à¤¯à¤¾à¤¸ है। शिव पà¥à¤°à¤¸à¤¾à¤¦ à¤à¤• à¤à¤¾à¤°à¤¤à¥€à¤¯ पà¥à¤°à¤¶à¤¾à¤¸à¤¨à¤¿à¤• सेवा (आईà¤à¤à¤¸) अधिकारी हैं। यह वेबसाइट 25 वरà¥à¤·à¥‹à¤‚ से अधिक समय से सारà¥à¤µà¤œà¤¨à¤¿à¤• जीवन में रहकर सà¥à¤µà¤¯à¤‚ और लोगों के जीवन को देखकर गीता को समà¤à¤¨à¥‡ का परिणाम है।
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37. जीने का तरीका है ‘करà¥à¤®à¤¯à¥‹à¤—’ | 02/08/2022
‘वही अरà¥à¤œà¥à¤¨ वही बाण’ – इन शबà¥à¤¦à¥‹à¤‚ का इसà¥à¤¤à¤®à¤¾à¤² अकà¥à¤¸à¤° à¤à¤¸à¥€ सà¥à¤¥à¤¿à¤¤à¤¿ का वरà¥à¤£à¤¨ करने के लिठकिया जाता है, जब à¤à¤• सफल/सकà¥à¤·à¤® वà¥à¤¯à¤•à¥à¤¤à¤¿ काम पूरा करने में विफल रहता है।
à¤à¤• योदà¥à¤§à¤¾ के रूप में अरà¥à¤œà¥à¤¨ कà¤à¥€ यà¥à¤¦à¥à¤§ नहीं हारे थे। अपने जीवन के उतà¥à¤¤à¤°à¤¾à¤°à¥à¤§ में, वह à¤à¤• छोटी सी लड़ाई हार गठजिसमें उनà¥à¤¹à¥‡à¤‚ परिवार के कà¥à¤› सदसà¥à¤¯à¥‹à¤‚ को डाकà¥à¤“ं के समूह से बचाना था।
अब फà¥à¤²à¤¿à¤ªà¤•ारà¥à¤Ÿ पर उपलबà¥à¤§ है
गीता आचारण
à¤à¤• साधक की दृषà¥à¤Ÿà¤¿ से
यह पà¥à¤¸à¥à¤¤à¤• à¤à¤—वद गीता पर सापà¥à¤¤à¤¾à¤¹à¤¿à¤• लेखों का संकलन है। पà¥à¤°à¤¤à¥à¤¯à¥‡à¤• लेख सà¥à¤µà¤¤à¤‚तà¥à¤° है जिसमें गीता के विà¤à¤¿à¤¨à¥à¤¨ पहलà¥à¤“ं की वà¥à¤¯à¤¾à¤–à¥à¤¯à¤¾ है और साधक किसी à¤à¥€ लेख को बेतरतीब ढंग से चà¥à¤¨ सकता है।
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76 - 'काम' से रहें सावधान
अरà¥à¤œà¥à¤¨ पूछते हैं (3.36), 'तो - फिर यह मनà¥à¤·à¥à¤¯ सà¥à¤µà¤¯à¤‚ न चा
75 - 'धरà¥à¤® à¤à¤• है'
शà¥à¤°à¥€ कृषà¥à¤£ कहते हैं कि ( 3.35) अचà¥à¤›à¥€ पà¥à¤°à¤•ार आचरण में लà¤